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बीजेपी नेता और बिहार से लोकसभा सांसद और केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह हमेशा से साफ़ शब्दों, कड़े बयानों के लिए मशहूर रहे है, और यही कारण है की गिरिराज सिंह के खिलाफ सेक्युलर वामपंथी और जिहादी तत्व अक्सर स्वर बुलंद करते रहे है, इन्हे सांप्रदायिक नेता बताया जाता है, खैर
भारत में सच बोलना साम्प्रदायिकता की सूचि में ही आता है, गिरिराज सिंह ने कहा है की, भारत में जनसँख्या नियंत्रण कानून अब बहुत जरुरी हो गया है, और अगर जनसँख्या नियंत्रण कानून नहीं आता है तो भारत का भविष्य कभी भी सुरक्षित नहीं है
गिरिराज सिंह ने कहा की जनसँख्या नियंत्रण कानून दुनिया के कई देशों में है, उदाहरण के तौर पर चीन, साथ ही गिरिराज ने कहा की, जहाँ जहाँ भी हिन्दुओ की संख्या कम हुई है, वहां वहां देश बंटा है, देश कमजोर हुआ है, देश को सुरक्षित करने के लिए जनसँख्या नियंत्रण कानून को लाया जाना अब बहुत जरुरी हो गया है
गिरिराज सिंह के इस बयान पर कुछ कुछ सेक्युलर और वामपंथी नेता भड़क गए है, जबकि गिरिराज सिंह की बात में सच्चाई है, उदाहरण के तौर पर जम्मू कश्मीर में ही देख लीजिये, समस्या वहीँ है जहाँ हिन्दू कम है, जम्मू में समस्या नहीं है, समस्या कश्मीर में है क्यूंकि वहां हिन्दू अब है ही नहीं मात्र 2% है
जम्मू में अलगाववाद की समस्या इसी लिए नहीं है क्यूंकि वहां अभी भी हिन्दू बहुसंख्यक है, हिमाचल में भी अलगाववाद नहीं है, क्यूंकि वहां हिन्दू बहुसंख्यक है, कई और भी उदाहरण है
उत्तर प्रदेश में समस्या पश्चिमी उत्तर प्रदेश में ही है क्यूंकि वहां मुस्लिम आबादी 40% तक पहुँच गयी है, हरियाणा में भी समस्या मेवात इलाके में ही है, बाकि पुरे हरियाणा में देशद्रोह की कोई समस्या नहीं है, बिहार में भी उत्तर पूर्वी इलाके में ही समस्या है, बंगाल में भी बांग्लादेश की सीमा से सटे इलाकों में समस्या है, केरल में भी उत्तरी केरल में समस्या है, तेलंगाना में भी हैदराबाद इलाके में समस्या है, दिल्ली में भी पूर्वी और पुरानी दिल्ली में ही समस्या है
समस्या वहीँ है जहाँ हिन्दू की संख्या कम है, जहाँ हिन्दू अधिक है, वहां समस्या नहीं है, और गिरिराज सिंह की बात में 100% सच्चाई है, पर इस देश में सच कहना असल में सांप्रदायिकता में आता है और इसी कारण गिरिराज सिंह जैसे नेता सांप्रदायिक कहे जाते है
source - http://www.dainik-bharat.org
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